हर रोज़ सुबह 6 बजे सरकारी तेल कंपनियां पेट्रोल और डीजल की नई कीमतें जारी करती हैं। इन दामों में हर राज्य में अंतर होता है, जो कई कारकों पर निर्भर करता है। आइए जानते हैं आज के पेट्रोल-डीजल के दाम और यह भी समझते हैं कि इनकी कीमतें कैसे तय की जाती हैं।
उत्तर प्रदेश में पेट्रोल-डीजल के दाम
उत्तर प्रदेश में आज पेट्रोल की औसत कीमत 95.06 रुपये प्रति लीटर है, जबकि डीजल 88.20 रुपये प्रति लीटर में बिक रहा है। प्रदेश के विभिन्न शहरों में यह कीमत थोड़ी-बहुत अलग हो सकती है, जो स्थानीय टैक्स और परिवहन लागत पर निर्भर करती है।
दिल्ली में पेट्रोल-डीजल की स्थिति
राजधानी दिल्ली में आज पेट्रोल की औसत कीमत 94.77 रुपये प्रति लीटर है, जबकि डीजल की कीमत 87.67 रुपये प्रति लीटर दर्ज की गई है। दिल्ली में कीमतें अन्य राज्यों की तुलना में थोड़ी कम हैं, क्योंकि यहां वैट की दर अपेक्षाकृत कम है।
बिहार और झारखंड में पेट्रोल-डीजल के दाम
बिहार में पेट्रोल की औसत कीमत 106.24 रुपये प्रति लीटर और डीजल 93.03 रुपये प्रति लीटर है। वहीं, झारखंड में पेट्रोल की औसत कीमत 98.58 रुपये प्रति लीटर और डीजल 93.32 रुपये प्रति लीटर है। इन राज्यों में पेट्रोल-डीजल के दाम अन्य राज्यों से अधिक हैं, क्योंकि यहां टैक्स की दरें अधिक हैं।
गुजरात और हरियाणा में पेट्रोल-डीजल की कीमतें
गुजरात में पेट्रोल की औसत कीमत 95.01 रुपये प्रति लीटर है और डीजल की औसत कीमत 90.70 रुपये प्रति लीटर। हरियाणा में पेट्रोल की कीमत 95.31 रुपये प्रति लीटर और डीजल 88.15 रुपये प्रति लीटर है। दोनों राज्यों में ईंधन की कीमतें तुलनात्मक रूप से स्थिर रहती हैं।
मेट्रो शहरों और पहाड़ी इलाकों में कीमतें
महाराष्ट्र में, खासतौर पर मुंबई जैसे मेट्रो शहरों में, पेट्रोल की कीमत 104.81 रुपये प्रति लीटर और डीजल 91.33 रुपये प्रति लीटर है। पहाड़ी इलाकों की बात करें तो हिमाचल प्रदेश में पेट्रोल की कीमत 94.36 रुपये प्रति लीटर और डीजल की कीमत 86.70 रुपये प्रति लीटर है। उत्तराखंड में पेट्रोल 93.98 रुपये प्रति लीटर और डीजल 88.80 रुपये प्रति लीटर है।
कैसे तय की जाती है पेट्रोल-डीजल की कीमत?
साल 2017 में लागू किए गए Dynamic Fuel Pricing System के तहत पेट्रोल-डीजल की कीमतें अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल (Crude Oil) की कीमतों के आधार पर तय की जाती हैं। इसमें निम्नलिखित कारकों की भूमिका होती है:
- कच्चे तेल की कीमत: अंतरराष्ट्रीय बाजार में तेल की कीमतों में बदलाव का सीधा असर पेट्रोल-डीजल की कीमतों पर पड़ता है।
- रिफाइनिंग लागत: कच्चे तेल को पेट्रोल और डीजल में बदलने की प्रक्रिया पर आने वाला खर्च।
- ट्रांसपोर्टेशन लागत: तेल को रिफाइनरी से पेट्रोल पंप तक पहुंचाने की लागत।
- केंद्र और राज्य सरकारों का टैक्स: हर राज्य में वैट (VAT) और एक्साइज ड्यूटी अलग-अलग होती है, जिससे राज्यों में पेट्रोल-डीजल की कीमतें भिन्न होती हैं।
GST में क्यों नहीं शामिल हैं पेट्रोल-डीजल?
पेट्रोल-डीजल पर गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (GST) नहीं लगाया जाता है। यदि इन उत्पादों पर GST लागू किया जाए, तो कीमतों में कमी आ सकती है, लेकिन इससे केंद्र और राज्य सरकारों की आय पर असर पड़ेगा। वर्तमान में पेट्रोल और डीजल सरकार के लिए राजस्व का एक बड़ा स्रोत हैं, इसलिए इसे GST के तहत शामिल नहीं किया गया है।
पेट्रोल-डीजल की कीमतें क्यों अलग-अलग होती हैं?
भारत में हर राज्य में पेट्रोल-डीजल की कीमतें अलग होती हैं। इसका मुख्य कारण है:
- वैट की दरें: राज्य सरकारें पेट्रोल-डीजल पर अलग-अलग VAT लगाती हैं, जिससे हर राज्य में कीमतें अलग होती हैं।
- ट्रांसपोर्टेशन खर्च: तेल को रिफाइनरी से राज्यों के विभिन्न हिस्सों में ले जाने में आने वाली लागत भी कीमतों में अंतर पैदा करती है।
- स्थानीय कर: राज्यों के भीतर लगाए जाने वाले अन्य कर भी ईंधन की कीमतों को प्रभावित करते हैं।
हर रोज़ बदलने वाली पेट्रोल-डीजल की कीमतें अंतरराष्ट्रीय बाजार की स्थिति और स्थानीय कर नीति पर निर्भर करती हैं। आज की कीमतों को देखें तो विभिन्न राज्यों में थोड़े-बहुत अंतर के बावजूद, उपभोक्ताओं के लिए इनकी बढ़ती लागत चिंता का विषय है।
अगर केंद्र और राज्य सरकारें पेट्रोल-डीजल को GST के दायरे में लाती हैं, तो इनकी कीमतों में कमी आ सकती है, लेकिन यह सरकारों की आय को प्रभावित करेगा। फिलहाल, यह देखना दिलचस्प होगा कि आने वाले समय में पेट्रोल-डीजल की कीमतों में और क्या बदलाव होते हैं।